मुंह के छाले (Mouth Ulcer) व्यक्तियों में होने वाली एक सामान्य समस्या है। जो लगभग कभी न कभी सभी
को मुंह मे छाले होने की समस्या होती है।छालों की समस्या मुंह में होटो पर अंदर की तरफ , अंदर
गालों पर , जीभ पर कभी -कभी यह गले तक भी हो जाते है। जिसके चलते व्यक्तियों को कहीं समस्याओं
का सामना करना पड़ता है। जैस मुंह मे जलन होना , भोजन करने व पानी पीने में परेशानी होना।
मुंह के छाले वेसे तो 8 से10 दिनों में स्वतः ही समाप्त हो जाते है लेकिन छालो की गंभीर अवस्था
में मुंह से खुन भी निकल सकता है। और मुंह के छाले (Mouth Ulcer) का लम्बें समय तक रहनें से कैंसर तक होने
का भी खतरा हो सकता है।
मुंह के छाले क्या है? – What is Mouth Ulcer in Hindi
मुंह के छाले (Mouth Ulcer) इन्हें मुंहपाक भी कहते है। जिसके कारण मुंह में जलन होने लगती है यह समस्या
ज्यादतर पेट खराब होने कारण होती है। जैस गैस, एसीडिटि , कब्ज आदि । मुंह में छाले गर्म व तिखी वस्तुओं
के सेवन से भी हो सकते है। कहीं बार मुंह मे छाले होने का कारण बुखार भी होता है। जिसके कारण मुंह में
हेरपेटीफार्म अल्सर हो जाते है जो मुंह मे बारीक लाल दानो के रूप में होते है।
मुंह के छाले के प्रकार – Types of Mouth Ulcer in Hindi
हेरपेटीफॉर्म अल्सर – इस प्रकार के छाले होने का कारण शारीक परेशानी को माना जा सकता है बुखार व
कमजोर शरीर में विटामिस की कमी के कारण हो सकते है। जो बच्चों और बूढों मे बहुत कम देखने को
मिलते है। इस प्रकार के छाले 10 से 40 वर्ष की आयु में होने वाली समस्या है।
सामान्य अल्सर – यह छाले इनके नाम की तरह सामान्य होते है। जो कभी भी और किसी भी उर्म में होने
वाली समस्या है जो ज्यादातर 8 से 10 दिनों मे स्वयं ही समाप्त हो जाते है।
छालों की गंभीर अवस्था – मुंह में होने वाले छाले समय पर समाप्त ना हो तो यह गंभीर रूप ले लेते है
जिसके चलते यह बड़े और दर्द भरे हो जाते है। मुंह के छालो की यह अवस्था गीने -चूनें व्यक्तियों में
ही देखी जाती है। ऐसी स्थिती में तुरन्त अपने डॉक्टर की सलाह लेके उपचार करें ।
मुंह के छालों के मुख्य लक्षण -Main Symptoms of Mouth Ulcer in Hindi
1.छालों के होने से पहले ही मुंह मे चूबन होना।
2.मुंह मे कुछ जगह पर जलन के साथ उभार महसूस होना ।
3.मुंह मे लाल रंग के घाव दिखाई देना ।
4.किसी भी चीज का सेवन करने पर मुंह जलना ।
5.चिड़चिड़ापन होना ।
6.सही तरीके से न खा पाने पर थकान होना ।
7.अधिक परेशनी होने पर बोलने में समस्या होना ।
8.छालों के गले तक पक पहुचने पर पानी पिने में भी समस्या हो सकती है
मुंह में छाले होने के कारण – Due to Mouth Ulcer in Hindi
मुंह मे छाले होने पर हमारा ध्यान पेट की तरफ ही जाता है छालों के होने का सबसे बड़ा कारण पेट का
साफ ना होना ही है। परन्तु मुंह के छाले हाने के पिछ और भी कहीं कारण हो सकते है। इसलिए मुंह के
छालों का सही से इलाज करने से पहले यह जरूरी है कि छालों के होने का कारण क्या है नहीं तो आप
छालो का सही से उपाय नहीं कर सकते ।
- पेट साफ ना रहना , कब्ज , गैंस , एसिडिटि का होना ।
- मुंह में चोट लगना दांतो की सफाई , अधिक समय तक ब्रश करने से खरोंच आना , खेलते वक्त चोट लगना ,
- खाना खाते वक्त गलती से गाल काट लेना ।
- विटामिन बी-12, जिंक, फोलिक एसिड़ और आयरन की कमी होना।
- अधिक मसालेदार और तला , भूना हुआ बाहर का भोजन करना ।
- किसी से वस्तु से एलर्जी होने पर भी उसका उपयोग करना ।
- एल्कोहोल , गुटखा, तम्बांकू जैसे पदार्थ का हमारे मुंह के अंदर श्रलेष्मा झिल्ली के अधिक संपर्क में आने पगल जाना।
- साडिम लॉयरल सल्फेट युक्त टूथपेस्ट का माउथवॉश का उपयोग कारण।
- रोग प्रतिरोधक क्षमता के कमजोर होने के कारण
- महिलाओं में महावारी आने के समय में हार्मोन्स में बदलाव होने के कारण ।
- कुछ बीमारीयों के होने के कारण भी छाले हो सकते है।
मुंह के छालों में परहेज – What to Avoid During Mouth Ulcer in Hindi
मुंह मे छाले होने पर पूरे शरीर की व्यवस्था ठीक नहीं लगती क्योंकि छालों के होने पर ठीक से खाना – पीना नहीं
होता और कुछ खाने पर मुंह मे जलन लगने पर चिड़चिड़ा होने लगते है। इसलिए छालों को जल्द से जल्द
खत्म करनें के लिए कुछ चिजों का परहेज करना भी जरूरी है।
- नमकीन व खट्टा जेसे टमाटर , अनानास , जेसे पदर्थो से बचें क्योंकि इनके सेवन करने से मुंह के छालों पीड़ा
और अधिक हो सकती है।
- मुंह में छालों के समय कठोर और खुरदरे खाने से बचें इससे मुंह के छालों के घाव और भी बढ़ सकते है।
- तीखा व चटपटा खाने से बचें इससे जलन और भी अधिक हो सकती है।
- बाहर का तला भूना खाना खाने से बचें इससे पेट की समस्या के चलते छाले लम्बें समय तक और दौबारा भी
हो सकते है।
मुंह के छाले मे क्या खाना चाहिए – What to Eat During Mouth Ulcer in Hindi
मुंह के छाले होना जैसा की आप जानते है की एक साधारण सी बात है परन्तु शरीर में तोड़ी सी भी समस्या
परेशानी का कारण बन जाती है। जो और नई समस्याओं को न्योता दे सकती है।
1.छालों के होने पर अधिक स पेय पदार्थो का सेवन करें ।
2.ज्यादा से ज्यादा पानी पीऐ।
3.छाछ, दही, शरबत जेसे ठण्ड़े पेय पदार्थो का सेवन करें ।
4.भोजन को सही रूप से ना खा पाने पर उच्च कैलोरी , प्रोटिन युक्त भोजन का सेवन करें ।
5.भूखे पेट ना रहें गैंस एसिडिटि कि समस्या और भी बढ़ सकती है।
मुहं के छालों का निदान – Diagnosis of Mouth Ulcer in Hindi
छालों के निदान के लिए किसी भी तरह की जॉच की जरूरत नहीं होती । मुंह के छालों को आपके डॉक्टर देखते
ही पता लग जाता है। लेकिन जब छालों की समस्या अधिक हो जाती है। या बार-बार छालों के होने की समस्या
होती है। एसी स्थिती में आपको कुछ टेस्ट को जरूरत पड़ सकती है। जैसे ब्लड़ टेस्ट ,मुंह की बायोप्सी की जरूरत
पड़ सकती है। जिससे छालों के कारणों का पता लगाकर सही तरीके से इलाज कर सकते है।
1.विटामिन या मिनरल की कमी होना ।
2.वायरल इन्फेक्शन होना ।
3.हॉर्मोन सम्बन्धी गड़बड़ी होना ।
4.इम्यून सिस्टम का कमजोर होना ।
5.छालों का अधिक हो जाना ।
मुंह के छालों से बचने के उपाय – Prevention From Mouth Ulcer in Hindi
आप अपनी जीवन शैली में छोटे – छोटे परिवर्तन लाकर मुंह में होने वाले छालों से बचें रह सकते है। जैसे –
गर्म चीजों का सेवन ना करें ।
बार-बार चाय पीने की आदत ना डाले ।
रोजाना 4 से 5 लीटर पानी पीयें ।
भोजन में सलाद का उपयोग करें इन्हें पचाने में आसानी होती है।
विटामिन सी युक्त फलों का उपयोग करें।
अधिक गैस और एसिडीटी होने पर इसबगोल का उपयो करें।
दूध , दही, छाछ जैसे पेय पदार्थो का सेवन करें।
मौसमी फलों का भी सेवन करें जैसे अमरूद, जामुन आदी ।
दातों की सफाई करने के लिए नरम ब्रश का उपयोग करें।
मुंह में चोट लगने से बचें।
च्युइंगम चबाने की आदत ना डालें यह भी मुंह के छालों बढावा दे सकती है।
इन घरेलू तरीकों से ठीक हो जाएगें मुंह के छाले – Home Remedies for Mouth Ulcer in Hindi
तुलसी – यह एक बहुगुणकारी औषदिय पौधा है। छाले होने पर सुबह -शाम इसके 5 से6 पत्तों के सेवन करने से
छालों में बहुत आराम मिलता है।
हल्दी – हल्दी को पानी में मिलाकर कुल्ले करने या दूध में हल्दी मिलाकर पिने से मुंह के छालों में तुरन्त आराम
मिलता है।
शहद – शहद को छालों पर लगाने से भी छाले ठीक हो जाते है।
ग्लिसरीन – इसको छालों पर लगान से छालों की जलन कम हो जाती है।
जामुन और अमरूद के पत्ते- इनके एक या दो नरम पत्तों को चबाने से भी छालों मे आरा41म मिलता है।
शीशम के पत्ते – इनको भी चबाकर रस चूसने से भी छाले ठीक होते है।
पान – कोरे पान के पत्तो पर कत्था लगाकर खाने से मुहं के छोलो मे तुरन्त आराम मिलता है।
सलाद- सलाद के रूप में प्याज , मूली , और अमरूद का सेवन करने से छाले जल्दी ही ठीक हो जाते है।
मुंह के छाले की अंग्रजी दवां – Mouth Ulcer Medicines in Hindi
बीकोसूल्स (becosules)
न्यूरोबियन फोर्ट टैबलेट (Neurobion Forte Tablet)
कैसे कैंसर का कारण बन सकते हैं मुंह के छाले – How can Mouth Ulcer Cause Cancer in Hindi
ज्यादातर मुंह में होने वाले छाले सामान्य ही होते है। जो बहुत ही पिढा़दाय होते है । जो मुंह के अन्दर के भाग
मे होटो से लेकर गले तक कही भी हो सकते है। जो व्यक्ति को भोजन करने और पानी पीने में भी परेशानी
पेदा कर सकते है। मुंह के छाले होने के पिछे पेट की खराबी , एलर्जी, इन्फेक्शन जैसे कारण हो सकते है।
जो एक से दो हफ्तों मे समाप्त हो जाते है। अगर मुंह के छाले लम्बें समय तक रहते है तो यह कैंसर (Cancer)का
कारण हो सकता है। क्योंकि कैंसर के छालों में दर्द कम होत है। इनमें केवल घाव ही महसुस होता है।
कैंसर का घाव गहरा होने लगता है। और मुंह से थूक के साथ खुन आने लगता है।
यह जरूरी नहीं जो छाले लम्बें टिकते है व मुंह का कैंसर का कारण हो ।
यह आनुवांशीक कारण भी हो सकता है। लेकिन चोट लगने इफेक्शन होने की दशा में समय पर इलाज ना
करवाया जाय तो यह कैंसर का कारण भी हो सकता है।
जब मुंह में दांत सही तरीके से ना उगे हो और मुंह में उसके घर्षण से लम्बें समयतक घाव रहने पर भी कैंसर
का रूप ले सकता है